गाय को राष्ट्र माता घोषित करे और सशक्त कानून भी बनाए – कथावाचक नमन जी वैष्णव,
स्वर्गीय महेंद्र सिंह कालूखेड़ा गौशाला तालीदाना में श्रीमद् भागवत कथा के छठे दिन मंच पर सनातन के दो सिंहासन रामानन्द पीठ एवं शंकराचार्य पीठ एक साथ दिखाई दिए, श्रीमद् भागवत कथा मनुष्य को गाय और गोपाल से जोड़ने का माध्यम हैं। परम पूज्य राष्ट्र संत नमन जी वैष्णव ने व्यास पीठ से सरकार से आग्रह किया कि जब गाय को राष्ट्र माता घोषित किया जावे, इसके लिए सशक्त कानून बनाना चाहिए।सबसे बड़ा सुख मनुष्य देह मिलना हैं।बिना कीर्तन व भजन किए सुख नहीं मिलता हैं।भजन में ही वजन हैं।भजन तत्व जानने के लिए परीक्षित ,सुखदेव जी के शरण में गये।जीवन में वही सुखी है जो सत्संगी हैं,उसे हर घड़ी आनंद ही आनंद है। जिसका जीवन सच्चाई में बस गया,उसके पापों का पर्वत भी जाता हैं। सुर मीरा,कबीर ने गाया और नानक ने दर्शन पाया , राधा- रुक्मणि विवाह का आयोजन भी किया गया।
आज के श्रीमद् भागवत कथा के यजमान रघुवीर सिंह आंजना पंचेवा रहे।
अनंत विभूषित भानपुरा पीठाधीश्वर शंकराचार्य द्वारा भी गौभक्तों को अपनी अमृतवाणी से भागवत कथा का रसपान कराया। आपने बताया कि भगवत चरित्र जितने प्रकार से गाया जाए सरल नहीं होता हैं। गाय वत्सला होती हैं।अपने बछड़े को मैला होने पर भी अपनी जीभ से साफ कर देती हैं,इसलिए गाय को वत्सला कहा जाता है। मृत्यु के समय धर्म मित्र होता हैं।इसलिए मनुष्य को धर्ममय जीवन जीना चाहिए।आरती लाभ गौशाला संरक्षक के.के.सिंह कालूखेड़ा, मांगीलाल पटेल रियावन, सौरभ गुप्ता जावरा, चरण सिंह चंद्रावत, माताप्रसाद शर्मा, राजेंद्र सिंह चंद्रावत, दादू बना, राजेश व्यास, जगदीश धाकड़ ने लिया।
विशेष अतिथि राजकुमार सिंह राठौर आंबा, धर्मेंद्र सिंह सरपंच बाराखेड़ा, अनिल दसेड़ा, अतुल मेहता जावरा, जिला पंचायत सदस्य डी.पी.धाकड़, दीपेंद्र सिंह चंद्रावत, तारण सिंह सेठी जावरा, पर्वत सिंह आंजना, होली हनुमान जी समिति से दीपेन्द्र सिंह राठौर, राजेन्द्र सिंह शक्तावत , अरनियापिथा कृषि उपज मंडी व्यापारी संगठन जावरा, पदाधिकारी व सदस्य, महेंद्र गोखरू मित्र मंडल जावरा रहे।